आज 13 अक्टूबर 2025 है और अमेरिका में शटडाउन का दूसरा हफ्ता यानी लगभग 9-10 दिन बीत चुके हैं. अभी ऐसे संकेत भी नहीं मिल रहे कि ये खत्म हो रहा है या होने वाला है. कांग्रेस में रिपब्लिकन्स और डेमोक्रेट्स के बीच शटडाउन पर कोई संवाद नहीं हो रहा है. दोनों पार्टियां ब्लेम गेम में बिजी हैं और आम फेडरल वर्कर्स की फायरिंग्स और लेऑफ्स झेल रहा है.
मंडरा रहा अरबों डॉलर्स और नौकरियों पर खतरा
शटडाउन शुरू होते ही राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के आर्थिक सलाहकारों ने चेताया था कि अगर सरकारी शटडाउन लंबा खिंचा तो गंभीर आर्थिक नुकसान झेलना होगा. POLITICO को मिली व्हाइट हाउस की एक मेमो में कहा गया था कि हर हफ्ते शटडाउन जारी रहने पर अमेरिका की जीडीपी को 15 अरब डॉलर का नुकसान हो सकता है. फिर अगर शटडाउन एक महीने तक चला तो 43,000 लोग और बेरोजगार हो जाएंगे.
सामने आने लगा शटडाउन का संकट
अमेरिकी अखबारों के मुताबिक अमेरिका में शटडाउन का असर अब दिखने लगा है. वाशिंगटन पोस्ट के अनुसार हजारों फेडरल एम्प्लॉयी फर्लो (बिना पे के छुट्टी) पर हैं और 4,000 से ज्यादा को लेऑफ नोटिस मिल चुके हैं. ये लेऑफ्स ट्रेजरी (1,446), हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विसेज (1,200) और एजुकेशन (466) जैसे डिपार्टमेंट्स में हो रहे हैं. CDC में पहले सैकड़ों को फायर किया गया लेकिन अस्थिरता के कारण आधे से ज्यादा को बैक ले लिया गया. हालत ये है कि वर्कर्स को पे नहीं मिल रही और फैमिलीज स्ट्रेस में हैं.
जू-म्यूजियम बंद, किसानों को नहीं मिल रहा लोन
न्यूयॉर्क टाइम्स की 11 अक्टूबर की रिपोर्ट के अनुसार स्मिथसोनियन म्यूजियम्स और नेशनल जू बंद हैं. एयर ट्रैफिक कंट्रोल स्ट्रेस्ड है जिससे फ्लाइट डिले हो सकती हैं. फार्मर्स को USDA लोन्स नहीं मिल रहे तो उन्हें हाई इंटरेस्ट पर बैंक से लेना पड़ रहा. नेटिव अमेरिकन कम्युनिटीज में हेल्थ सर्विसेज जैसे डायबिटीज मॉनिटरिंग रुकी हुई हैं. वेटरन्स को करियर काउंसलिंग नहीं मिल रही और EPA की ड्रिंकिंग वॉटर सेफ्टी ओवरसाइट बंद है. इस सबसे कॉन्ट्रैक्टर्स और बिजनेस वर्ग पर प्रेशर बढ़ रहा, लेऑफ्स और डिले से कीमतें बढ़ रही. लो-इनकम फैमिलीज के लिए न्यूट्रिशन प्रोग्राम रिस्क में है.
क्यों पैदा हुई शटडाउन की स्थिति
अमेरिकी सीनेट में फेडरल फंडिंग बढ़ाने के लिए प्रस्ताव पास करने की आखिरी समय सीमा एक अक्टूबर की मध्यरात्रि थी लेकिन ये पास नहीं हो पाया. इसलिए 1 अक्टूबर को रात 12.01 बजे से शटडाउन की स्थिति पैदा हो गई. इससे सरकारी बजट समय पर पास नहीं हो सका और सरकारी विभाग और एजेंसियां केवल जरूरी कामों तक सीमित रह गईं जबकि बाकी विभाग बंद हो गए.
अब आगे क्या होगा, बीच का रास्ता या पॉलिटिकल डेडलॉक…?
रिपब्लिकन्स और डेमोक्रेट्स के बीच खींचतान जारी है. डेमोक्रेट्स चाहते हैं कि शॉर्ट-टर्म फंडिंग बिल के साथ अफोर्डेबल केयर एक्ट सब्सिडीज एक्सटेंड हों और मेडिकेड कट्स रोल बैक हो. वहीं, रिपब्लिकन्स पहले गवर्नमेंट ओपन करने की शर्त पर टिके हैं. ये अगर लंबा खिंचा तो और लेऑफ्स बढ़ेंगे.
ज्यादा डिले होने पर कंस्ट्रक्शन प्रोजेक्ट्स रुके तो नौकरियां जाने का सिलसिला बढ़ेगा. इस ट्रेड वॉर के बीच फार्मर्स पर एक्स्ट्रा स्ट्रेस बढ़ेगा. लो-इनकम मदर्स और चिल्ड्रन के लिए मदद तक रुक सकती है.
समझें विपक्ष कैसे रोक सकता है फंड?
अमेरिकी संविधान के अनुसार पैसा खर्च करने का अधिकार कांग्रेस के पास होता है. आर्टिकल I के अनुसार सरकार बिना कांग्रेस की मंजूरी पैसा खर्च नहीं कर सकती. साल 1884 का Antideficiency Act भी ये सुनिश्चित करता है कि कोई विभाग बजट खत्म होने से पहले पूरा पैसा खर्च न कर दे. इस वजह से जब सालाना बजट पास नहीं होता तो गैर-आपातकालीन काम तुरंत बंद हो जाते हैं.
अमेरिका ने 34 दिन में बहुत कुछ झेला, कहीं इस बार…
लगभग 8 लाख संघीय कर्मचारी या तो छुट्टी पर भेजे गए या बिना वेतन काम करने को मजबूर किए गए. 3,40,000 वर्कर्स को घर पर बैठाया गया. अनुमानित 6 अरब डॉलर का नुकसान हुआ और GDP में 0.4% की कमी आई. सरकारी सेवाएं ठप हुईं, नौ फेडरल एजेंसियां प्रभावित हुई. यही नहीं नेशनल पार्कों में कचरा जमा हो गया था, कर्मचारी न होने से रख-रखाव ठप था और छोटे व्यवसायों पर असर दिखा, सरकारी ठेकेदार और वेंडर्स को भुगतान में देरी हुई. एयरलाइनों के यात्री कम हुए, सुरक्षा जांच में देरी और हवाई अड्डों पर रुकावट आई.
गौरतलब है कि मौजूदा शटडाउन का हल अगर जल्द से जल्द नहीं निकाला जाता तो ऐसी स्थितियां दूर नहीं हैं. अमेरिका शटडाउन के दौरान हरेक दिन नुकसान झेल रहा है. रिपब्लिकंस और डेमोक्रेट को बातचीत करके बीच का रास्ता निकालना ही अकेला विकल्प नजर आ रहा है.
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