अपराध की दुनिया में एकछत्र राज करने वाले लारेंस बिश्नोई व उसके गैंग के बुरे दिन शुरू हो चुके हैं। सुरक्षा एजेंसियों की मानें तो लारेंस गैंग का दाहिना हाथ कहे जाने वाले कनाडा में बैठे गोल्डी बराड़ और काला जठेड़ी भी अलग हो गए हैं। ये लारेंस के लिए बहुत बड़ा झटका है। राजस्थान का गैंगस्टर रोहित गोदारा भी लारेंस गैंग से अलग हो चुका है। अधिकारियों की मानें तो इस समय लारेंस बिश्रोई अमेरिका में बैठे भाई अनमोल के साथ अकेला रह गया है।
कनाड़ा सरकार ने हाल ही में लारेंस के खिलाफ कड़ा कदम उठाया है। कनाडा सरकार ने बिश्नोई गैंग को एक आतंकवादी संगठन घोषित कर दिया है। बिश्नोई गैंग पर कनाडा में खास समुदाय को निशाना बनाकर डर और धमकी का माहौल बनाने का आरोप है। इसे देखते हुए कनाडा की पब्लिक सेफ्टी मिनिस्ट्री की तरफ से जारी बयान में कहा गया कि बिश्नोई गैंग एक इंटरनेशनल टेरेरिस्ट गैंग है जो हिंसा दहशतगर्दी और डराने धमकाने का काम करता है। ऐसे में बिश्नोई गैंग को आतंकी संगठन घोषित करने के बाद कनाडा की सरकार को उसके खिलाफ और कड़ी कार्रवाई करने की छूट मिलेगी।
लारेंस का खास माने जाने वाला रोहित गोदारा भी उससे अलग हो चुका है। बरेली, यूपी में फिल्म अभिनेत्री दिशा पाटनी के घर पर फायरिंग मामले में लारेंस और रोहित गोदारा के बीच दरार खुलकर सामने आ चुकी है। दोनों ने एक दूसरे के खिलाफ एक्स पर खुलकर लिख चुके हैं। अब गोल्डी बराड़ भी लारेंस से अलग हो चुका हैं। काला जठेड़ी व अलग गैंगस्टर भी अलग हो चुके हैं।
लारेंस इनके नाम का कर रहा था इस्तेमाल-
देश की सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों का कहना है कि जेल में निरुद्ध लारेंस बिश्रोई गोल्डी बराड़, काला जठेड़ी, रोहित गोदारा आदि के नाम का उगाही के लिए इस्तेमाल कर रहा था और इन्हीं से वारदातें करवा रहा था। इसे देखते हुए ये गैंगस्टर लारेंस से अलग हुए हैं। अब ये अपने ही साम्राज्य चलाना चाहते है। एक कारण ये भी बताया जा रहा है कि गोल्डी बराड़ इस समय देश विरोधी काम करने वाले खालिस्तानियों से जुड़ गया है। गोल्डी बराड़ समेत कुछ गैंगस्टरों का नाम ड्रग्स मामले में सामने आ चुका है। इसको लेकर इनका व लारेंस का मनमुटाव हो गया। छोटे भाई अनमोल को लेकर भी लारेंस व गोल्डी के बीच तकरार पैदा हो गई थी।
छात्र जीवन में रखा अपराध की दुनिया में कदम
जेल में बंद 32 वर्षीय गैंगस्टर लॉरेंस ने 2010 में पंजाब यूनिवर्सिटी में छात्र रहते हुए अपराध की दुनिया में कदम रखा था। उसने यूनिवर्सिटी में छात्रसंघ चुनाव के दौरान एक प्रतिद्वंद्वी उम्मीदवार पर गोलीबारी की थी, जिसके लिए उसे तीन महीने जेल में बिताने पड़े थे। वह गैंगस्टर-आतंकवादी नेटवर्क गठजोड़ का हिस्सा है। पुलिस रिकॉर्ड के अनुसार एक किसान का बेटा बिश्नोई पंजाब के फाजिल्का जिले का मूल निवासी है और उसने चंडीगढ़ से कानून की डिग्री हासिल की है।
चूर-चूर हो गया आईपीएस बनाने का सपना
लॉरेंस के पिता ने भी अपने बेटे को बड़ा आदमी बनाने का सपना देखा था। वह उसे आईपीएस बनाना चाहते थे, उन्होंने उसे वकालत भी कराई। लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था, बेटा उनकी उम्मीदों पर खरा नहीं उतरा और पिता की आंखों के सामने ही वो सपना चूर-चूर हो गया।
सलमान खान से क्या है दुश्मनी-
लॉरेंस एक दशक से भी ज्यादा समय से हिरासत में है। वह पिछले कई साल से जहां भी रहा है, वहां की जेलों से अपने आतंकवाद-अपराध सिंडिकेट का संचालन करता रहा है। 1998 में वह सिर्फ पांच साल का था जब राजस्थान में फिल्म ‘हम साथ-साथ हैं’ की शूटिंग के दौरान बॉलीवुड अभिनेता सलमान खान से जुड़ा कुख्यात काला हिरण शिकार प्रकरण हुआ था। इस प्रकरण के बाद बिश्नोई समुदाय नाराज हो गया था, जो इस काला हिरण को पूज्यनीय मानता है। गैंगस्टर की सलमान से दुश्मनी पहली बार 2018 में सार्वजनिक हुई थी, जब जोधपुर में एक अदालत में पेशी के दौरान उसने कहा था कि हम सलमान खान को मार देंगे।
कई चर्चित हत्याकांडों को दिया अंजाम
जेल में बंद होने के बावजूद लॉरेंस कई चर्चित लोगों की हत्याओं को अंजाम देने में कामयाब रहा है, जिसमें 2022 में पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला, 2023 में करणी सेना प्रमुख सुखदेव सिंह गोगामेड़ी शामिल हैं। इसके अलावा उसने कनाडा में गायक एपी ढिल्लों और जिप्पी ग्रेवाल के घरों के बाहर गोलीबारी की भी साजिश रची थी।