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पुलिस फाइल में पाखंडी चैतन्यानंद पर कितने गंभीर आरोप? दोषी पाए जाने पर कितनी सजा संभव? – swami chaitanyanand case delhi police investigation women aid arrest ntcpvz


दिल्ली की सड़कों से लेकर अदालत के गलियारों तक, इन दिनों एक ही नाम चर्चा में है- पाखंडी बाबा स्वामी चैतन्यानंद उर्फ पार्थ सारथी. धर्म और शिक्षा की आड़ में उसने ऐसा जाल बुना, जिसमें कई मासूम छात्राएं फंसती चली गईं. पुलिस की छापेमारी, पीड़ितों के बयान और गवाही ने उसके पाखंड का पूरा चेहरा बेनकाब कर दिया है. कभी चांसलर की कुर्सी पर बैठकर गुरु बनने का दिखावा करने वाला ये बाबा दरअसल एक संगठित अपराधी निकला. यौन शोषण से लेकर दुबई तक लड़कियों की सप्लाई की साजिश ने इस केस को और भी गंभीर बना दिया है. सवाल अब यह है कि इतने गुनाहों के बाद कानून इस पाखंडी को कितनी कड़ी सजा देगा?

काली करतूतों का खुलासा
दिल्ली पुलिस की जांच जैसे-जैसे आगे बढ़ रही है, वैसे-वैसे पाखंडी बाबा स्वामी चैतन्यानंद उर्फ पार्थ सारथी की करतूतों की परतें खुल रही हैं. पुलिस अल्मोड़ा के उस गेस्ट हाउस तक पहुंच गई है, जहां पार्थसारथी छात्राओं के साथ ठहरा था. वहां के कर्मचारियों ने पुष्टि की कि छात्राओं के साथ अनुचित गतिविधियां होती थीं. इस बयान ने बाबा के काले चेहरे को और उजागर कर दिया है.

तीन महिला सहयोगी गिरफ्तार
इस पूरे मामले में बाबा की तीन करीबी सहयोगी श्वेता शर्मा (एसोसिएट डीन), भावना कपिल (एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर) और काजल (सीनियर फैकल्टी) को गिरफ्तार किया गया. इन पर आरोप है कि इन्होंने छात्राओं को धमकाने, दबाव डालने और सबूत नष्ट करने में बाबा की मदद की. पुलिस पूछताछ में तीनों ने अपना जुर्म स्वीकार कर लिया.

छात्राओं पर मनोवैज्ञानिक दबाव
पुलिस की जांच में सामने आया कि ये तीनों महिलाएं बाबा के इशारे पर छात्राओं को अनुशासन और अन्य बहानों से टॉर्चर करती थीं. यहां तक कि योग की तस्वीरों पर भी बाबा ने अशोभनीय टिप्पणियां की थीं. महिलाओं ने माना कि वे केवल पार्थसारथी के आदेश पर काम करती थीं.

संस्थान की साख पर सवाल
इस खुलासे के बाद दिल्ली के श्री शारदा इंस्टीट्यूट ऑफ इंडियन मैनेजमेंट एंड रिसर्च (SRISIIM) की साख पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं. पुलिस अब तक 30 से ज्यादा छात्राओं से पूछताछ कर चुकी है. कई ने साफ बताया कि गरीब और स्कॉलरशिप पाने वाली छात्राओं को बाबा अपना शिकार बनाता था.

छात्राओं का आरोप
संस्थान की PGDM कोर्स करने वाली कई छात्राओं ने बाबा पर यौन शोषण, छेड़छाड़ और मानसिक प्रताड़ना के आरोप लगाए. दिल्ली पुलिस ने दो अलग-अलग मामले दर्ज किए हैं. संस्थान श्री शारदा पीठम, कर्नाटक से संबद्ध है और यहां हॉस्टल भी है, जहां से शर्मनाक घटनाएं सामने आईं हैं.

FIR और धाराएं
4 अगस्त 2025 को वसंत कुंज थाने में इस मामले में FIR दर्ज की गई. पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 75(2), 79 और 351(2) लगाई हैं. ये धाराएं यौन उत्पीड़न, छेड़छाड़ और धमकी जैसे अपराधों से जुड़ी हैं. पुलिस कई छात्राओं के बयान दर्ज कर चुकी है और सबूतों का फोरेंसिक विश्लेषण जारी है.

BNS धारा 75(2)
यह धारा यौन उत्पीड़न, अनुचित शारीरिक संपर्क, यौन प्रस्ताव और अश्लील सामग्री दिखाने जैसे अपराधों पर लागू होती है. दोषी पाए जाने पर अधिकतम 3 साल की सजा या जुर्माना या दोनों हो सकते हैं. यह अपराध संज्ञेय है और गिरफ्तारी संभव है.

BNS धारा 79
धारा 79 किसी महिला की लज्जा भंग करने वाले शब्द, इशारे या हरकत पर लागू होती है. इसके तहत तीन साल तक की कैद या जुर्माना हो सकता है. हालांकि यह जमानती अपराध है. बाबा के मामले में छात्राओं को भेजे गए संदेश और अभद्र टिप्पणियां इसी धारा के तहत आती हैं.

BNS धारा 351(2)
यह धारा आपराधिक धमकी से संबंधित है. उपधारा 2 के तहत सामान्य धमकी देने पर 2 साल तक की जेल और जुर्माना हो सकता है. यह जमानती अपराध है. लेकिन बाबा पर गंभीर धमकी और दबाव डालने के सबूत भी हैं, जिससे सजा कड़ी हो सकती है.

दुबई कनेक्शन का खुलासा
पुलिस को बाबा के मोबाइल से मिले चैट्स ने चौंका दिया. इसमें वह छात्राओं को दुबई भेजने की योजना बनाता दिखा. चैट्स में एक शेख का नाम सामने आया. बाबा छात्राओं से कहता था- “दुबई का शेख सेक्स पार्टनर चाहता है, क्या तुम्हारी कोई दोस्त है?” यह विदेशी नेटवर्क की ओर इशारा करता है.

एयरहोस्टेस बनाने का झांसा
बाबा के मोबाइल से एयरहोस्टेस की तस्वीरें और बायोडाटा मिले. शक है कि वह लड़कियों को एयरहोस्टेस बनाने का सपना दिखाकर फंसाता था. उसकी सहयोगी तीन बहनों रश्मि, काजल और श्वेता ने पूछताछ में बताया कि वे बाबा की मदद करती थीं.

हनीट्रैप और निगरानी
बाबा लड़कियों को हनीट्रैप में फंसाने की कोशिश करता था. चैट्स में उसने एक छात्रा से लड़के को गले लगाकर फोटो भेजने के लिए पैसों का लालच दिया. उसके पास HIK Vision ऐप था, जिससे वह आश्रम के CCTV कैमरों पर निगरानी रखता था. यही नहीं, उसका कमरा किसी लग्जरी सूट जैसा था.

फरारी और गिरफ्तारी
दो महीने तक बाबा फरार रहा और मथुरा, वृंदावन व आगरा के होटलों में छिपता रहा. आखिरकार पुलिस ने उसे आगरा के ताजगंज इलाके से गिरफ्तार कर लिया. उसके पास से तीन मोबाइल, एक आईपैड, फर्जी पासपोर्ट और नकली विजिटिंग कार्ड मिले. उसकी 8 करोड़ की संपत्ति भी जब्त की गई.

फर्जी पहचान और नेटवर्क
गिरफ्तारी के बाद सामने आया कि बाबा के पास दो फर्जी पहचान पत्र थे- एक ‘स्वामी पार्थ सारथी’ और दूसरा ‘स्वामी चैतन्यानंद सरस्वती’ के नाम से. उसके पास संयुक्त राष्ट्र और BRICS के फर्जी कार्ड तक मिले. उसने अपना नेटवर्क सिर्फ देश में नहीं बल्कि विदेशों में भी फैला रखा था.

गंभीर सजा की संभावना
दिल्ली पुलिस अब इस केस को यौन शोषण से आगे बढ़ाकर अंतरराष्ट्रीय सेक्स रैकेट से जोड़कर देख रही है. अगर अदालत में सभी धाराओं के तहत अपराध सिद्ध हो गया तो बाबा को कई मामलों में अधिकतम 3 साल + 3 साल + 2 साल यानी कुल 8 साल तक की सजा हो सकती है. लेकिन विदेशी कनेक्शन और संगठित अपराध साबित होने पर यह सजा और भी बढ़ सकती है.

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