यूपी के कन्नौज में सनसनीखेज वारदात सामने आई, जहां एक मिस्त्री और मजदूर ने मिलकर दिनदहाड़े महिला और उसकी बेटी को बंधक बनाकर लूटपाट की. फिर उनपर जानलेवा हमला कर दिया. इस हमले में महिला की मौत हो गई, जबकि बेटी गंभीर रूप से घायल हो गई. बताया जा रहा है कि लूटपाट करने वाले बदमाश महिला के यहां करीब कुछ महीने से टाइल्स लगाने का काम कर रहे थे.
दरअसल, कन्नौज सदर कोतवाली क्षेत्र के कुतलूपुर मोहल्ला में सुनीता श्रीवास्तव अपने दो बेटी कोमल और दिया के साथ रहती थीं. उनके पति अरविंद श्रीवास्तव की करीब 4 साल पहले मौत हो चुकी है. अरविंद ग्रामीण बैंक में कैशियर पद पर थे, जिनकी मौत के बाद उनकी छोटी बेटी दिया श्रीवास्तव की मृतक आश्रित कोटे में नौकरी लगी थी.
बताया जा रहा है कि सुनीता के घर जिला बलरामपुर के चाचा-भतीजे टाइल्स लगाने का काम कर रहे थे. बीती दोपहर करीब 3:00 बजे इन लोगों ने अपने कुछ साथियों को फोन करके बुलाया. उसके बाद इन बदमाशों ने सुनीता से मारपीट करना शुरू कर दी. वहीं, कुछ बदमाशों ने ऊपर के कमरे में मौजूद बेटी कोमल को चाकू की नोक पर बंधक बना लिया और उसके मुंह में कपड़ा ठूंस कर उसके हाथों-पैरों को बांध दिया.
इन सबके बीच कुछ घर में बदमाश लूटपाट करते रहे. जैसे ही बंधक बनी सुनीता को मौका मिला तो उसने शोर मचाना शुरू किया. इसके बाद बदमाश मारपीट के बाद सुनीता को मरणासन्न स्थिति में छोड़कर वहां से फरार हो गए. सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने सुनीता को जिला अस्पताल में भर्ती कराया जहां डॉक्टर ने उन्हें मृत घोषित कर दिया.
मामले में एसपी विनोद कुमार ने बताया कि बलरामपुर जिले का जसवंत सिंह नाम का एक मिस्त्री अपने भतीजे के साथ उनके यहां टाइल्स लगाने का काम कर रहा था. जब पुलिस पहुंची तो सुनीता बंधी हुई पड़ी थी और उनके सिर में चोट थी. उनकी बड़ी बेटी कोमल ने बताया कि ऊपर कमरे में उसको बंधक बनाकर रखा गया था. सुनीता को फौरन जिला अस्पताल ले जाया गया जहां डॉक्टर ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. उनके घर की अलमारी खुली हुई थी और सामान बिखरा हुआ था.
आरोपी जसवंत और उसका भतीजा टाइल्स लगाने काम कर रहा था. यह दोनों तिर्वा में रह रहे थे. इनका मोबाइल स्विच ऑफ है. इनकी गिरफ्तारी के लिए तीन टीम लगाई गई हैं. शीघ्र गिरफ्तारी की जाएगी.
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